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Chap 2 : दो गौरैया

मेरी समझ से

(क) निम्नलिखित प्रश्नों के उपयुक्त उत्तर के सम्मुख सही का निशान () बनाइए।

प्रश्न (1) पिताजी ने कहा कि घर सराय बना हुआ है क्योंकि-

  • घर की बनावट सराय जैसी बहुत विशाल है
  • घर में विभिन्न पक्षी और जीव-जंतु रहते हैं
  • पिताजी और माँ घर के मालिक नहीं हैं
  • घर में विभिन्न जीव-जंतु आते-जाते रहते हैं (✓)

उत्तर: पिताजी ने कहा कि घर सराय बना हुआ है क्योंकि घर में विभिन्न जीव-जंतु आते-जाते रहते हैं

प्रश्न (2) कहानी में ‘घर के असली मालिक’ किसे कहा गया है?

  • माँ और पिताजी को जिनका वह मकान है
  • लेखक को जिसने यह कहानी लिखी है
  • जीव-जंतुओं को जो उस घर में रहते थे (✓)
  • मेहमानों को जो लेखक से मिलने आते थे

उत्तर: कहानी में ‘घर के असली मालिक’ जीव-जंतुओं को कहा गया है जो उस घर में रहते थे

प्रश्न (3) गौरैयों के प्रति माँ और पिताजी की प्रतिक्रियाएँ कैसी थीं?

  • दोनों ने खुशी से घर में उनका स्वागत किया
  • पिताजी ने उन्हें भगाने की कोशिश की लेकिन माँ ने मना किया (✓)
  • दोनों ने मिलकर उन्हें घर से बाहर निकाल दिया
  • माँ ने उन्हें निकालने के लिए कहा लेकिन पिताजी ने घर में रहने दिया

उत्तर: गौरैयों के प्रति पिताजी ने उन्हें भगाने की कोशिश की लेकिन माँ ने (मजाक में ही सही) मना किया या कम से कम उनकी मदद नहीं की।

प्रश्न (4) माँ बार-बार पिताजी की बातों पर मुसकराती और मजाक करती थीं। इससे क्या पता चलता है?

  • माँ चाहती थीं कि गौरैयाँ घर से भगाई न जाएँ (✓)
  • माँ को पिताजी के प्रयत्न व्यर्थ लगते थे (✓)
  • माँ को गौरैयों की गतिविधियों पर हँसी आ जाती थी
  • माँ को दूसरों पर हँसना और उपहास करना अच्छा लगता था

उत्तर: माँ के बार-बार मुस्कुराने और मजाक करने से यह पता चलता है कि वे चाहती थीं कि गौरैयों को घर से न भगाया जाए और उन्हें पिताजी के प्रयास बेकार लग रहे थे

प्रश्न (5) कहानी में गौरैयों के बार-बार लौटने को जीवन के किस पहलू से जोड़ा जा सकता है?

  • दूसरों पर निर्भर रहना
  • असफलताओं से हार मान लेना
  • अपने प्रयास को निरंतर जारी रखना (✓)
  • संघर्ष को छोड़कर नए रास्ते अपनाना

उत्तर: गौरैयों के बार-बार लौटने को अपने प्रयास को निरंतर जारी रखने के पहलू से जोड़ा जा सकता है।

मिलकर करें मिलान

प्रश्न: पाठ में से चुनकर कुछ वाक्य नीचे दिए गए हैं। प्रत्येक वाक्य के सामने दो-दो अर्थ दिए गए हैं। इन्हें इनके सबसे उपयुक्त अर्थ से मिलाइए।

क्रम वाक्य सबसे उपयुक्त अर्थ
1. वह शोर मचता है कि कानों के पर्दे फट जाएँ, पर लोग कहते हैं कि पक्षी गा रहे हैं! पिताजी को पक्षियों का चहकना शोर जैसा लगता था लेकिन लोगों को वह संगीत जैसा लगता था।
2. आँगन में आम का पेड़ है। तरह-तरह के पक्षी उस पर डेरा डाले रहते हैं। आम के पेड़ पर अलग-अलग प्रकार के पक्षी हर समय निवास करते हैं।
3. वह धमा-चौकड़ी मचती है कि हम लोग ठीक तरह से सो भी नहीं पाते। चूहों की भागदौड़ और शोर इतना होता है कि घर के लोग चैन से सो नहीं पाते।
4. वह समझते हैं कि माँ उनका मजाक उड़ा रही हैं। पिताजी को ऐसा भ्रम होने लगता है कि माँ उनकी चेष्टाओं का उपहास कर रही हैं।
5. पिताजी ने लाठी दीवार के साथ टिकाकर रख दी और छाती फैलाए कुर्सी पर आ बैठे। पिताजी ने लाठी एक ओर रख दी और गर्व से, विजयी मुद्रा में बैठ गए।
6. इतने में रात पड़ गई। कहानी की घटनाओं के बीच धीरे-धीरे रात हो गई और अँधेरा छा गया।
7. जब हम लोग नीचे उतरकर आए तो वे फिर से मौजूद थीं और मजे से बैठी मल्हार गा रही थीं। गौरैयाँ फिर से लौट आई थीं और शांत व प्रसन्न भाव से चहचहा रही थीं जैसे कोई राग गा रही हों।

 

पंक्तियों पर चर्चा

प्रश्न (क): “अब तो ये नहीं उड़ेंगी। पहले इन्हें उड़ा देते, तो उड़ जातीं। अब तो इन्होंने यहाँ घोंसला बना लिया है।”

उत्तर: इन पंक्तियों का अर्थ है कि माँ समझ गई थीं कि जब पक्षी कहीं घोंसला बना लेते हैं, तो वे उस जगह को अपना घर मान लेते हैं। अब उन्हें वहाँ से भगाना बहुत मुश्किल है क्योंकि वे अपने घर को आसानी से नहीं छोड़ेंगी।

प्रश्न (ख): “एक दिन अंदर नहीं घुस पाएँगी, तो घर छोड़ देंगी।”

उत्तर: इस पंक्ति से पिताजी की सोच का पता चलता है। उन्हें लगता था कि अगर गौरैयों को एक-दो दिन के लिए घर में आने से रोक दिया जाएगा, तो वे परेशान होकर और हार मानकर खुद ही वह जगह छोड़कर चली जाएँगी।

प्रश्न (ग): “किसी को सचमुच बाहर निकालना हो, तो उसका घर तोड़ देना चाहिए।”

उत्तर: यह बात पिताजी ने गुस्से में कही थी। इसका मतलब है कि अगर किसी को किसी जगह से हमेशा के लिए हटाना हो, तो उसका ठिकाना या घर ही नष्ट कर देना चाहिए, ताकि वह वापस न लौट सके।

सोच-विचार के लिए

प्रश्न (क): आपको कहानी का कौन-सा पात्र सबसे अच्छा लगा- घर पर रहने आई गौरैयाँ, माँ, पिताजी, लेखक या कोई अन्य प्राणी? आपको उसकी कौन-कौन सी बातें अच्छी लगीं और क्यों?

उत्तर: मुझे कहानी में माँ का पात्र सबसे अच्छा लगा। उनकी ये बातें अच्छी लगीं:

  1. उन्हें जानवरों और पक्षियों से प्रेम था और वे नहीं चाहती थीं कि गौरैयों को घर से निकाला जाए।
  2. वे मुश्किल परिस्थिति में भी हँसती-मुस्कुराती रहती थीं और पिताजी के गुस्से को भी मजाक में हल्का कर देती थीं।
  3. अंत में जब गौरैया के बच्चे दिखे, तो उन्होंने तुरंत सारे दरवाजे खोल दिए, जिससे उनका दयालु स्वभाव पता चलता है।

प्रश्न (ख): लेखक के घर में चिड़िया ने अपना घोंसला कहाँ बनाया? उसने घोंसला वहीं क्यों बनाया होगा?

उत्तर: चिड़िया ने अपना घोंसला बैठक की छत में लगे पंखे के गोले में बनाया था। उसने घोंसला शायद वहीं इसलिए बनाया होगा क्योंकि वह जगह ऊँची, गर्म और बिल्लियों-चूहों जैसे दुश्मनों की पहुँच से दूर थी, जो उसके अंडों और बच्चों के लिए सुरक्षित थी।

प्रश्न (ग): क्या आपको लगता है कि पशु-पक्षी भी मनुष्यों के समान परिवार और घर का महत्व समझते हैं? अपने उत्तर के समर्थन में कहानी से उदाहरण दीजिए।

उत्तर: हाँ, मुझे लगता है कि पशु-पक्षी भी मनुष्यों की तरह परिवार और घर का महत्व समझते हैं। कहानी में, बार-बार भगाए जाने पर भी गौरैयाँ लौटकर अपने घोंसले में ही आती हैं क्योंकि वह उनका घर था। जब उनके बच्चे घोंसले में होते हैं, तो वे झट से उड़कर अंदर आते हैं और उनकी नन्हीं चोंच में चुग्गा डालते हैं। यह उनके अपने घर और परिवार के प्रति प्रेम को दिखाता है।

प्रश्न (घ): “अब मैं हार मानने वाला आदमी नहीं हूँ।” इस कथन से पिताजी के स्वभाव के कौन-से गुण उभरकर आते हैं?

उत्तर: इस कथन से पिताजी के स्वभाव के ये गुण उभरकर आते हैं:

  • दृढ़ निश्चयी: वे जो ठान लेते हैं, उसे पूरा करने की कोशिश करते हैं।
  • जिद्दी: वे आसानी से अपनी बात से पीछे नहीं हटते।

प्रश्न (ङ): कहानी में गौरैयों के व्यवहार में कब और कैसा बदलाव आया? यह बदलाव क्यों आया?

उत्तर: कहानी में गौरैयों के व्यवहार में बदलाव तब आया जब पिताजी स्टूल पर चढ़कर उनका घोंसला तोड़ने लगे। इस घटना के बाद वे चुपचाप, दुबली और कुछ काली सी होकर दीवार पर बैठ गईं और उन्होंने चहकना बंद कर दिया। यह बदलाव अपने घर के टूटने के डर और दुख के कारण आया था।

प्रश्न (च): कहानी में गौरैयों ने किन-किन स्थानों से घर में प्रवेश किया था? सूची बनाइए।

उत्तर: गौरैयों ने इन स्थानों से घर में प्रवेश किया था:

  1. रसोई की ओर खुलने वाले दरवाजे से
  2. दरवाजों के नीचे खाली बची जगह से
  3. रोशनदान के टूटे हुए शीशे में से

प्रश्न (छ): इस कहानी को कौन सुना रहा है? आपको यह बात कैसे पता चली?

उत्तर: इस कहानी को लेखक सुना रहा है, जो उस घर में रहने वाला बेटा है। यह बात ऐसे पता चली क्योंकि कहानी में “मैं”, “माँ” और “पिताजी” जैसे शब्दों का प्रयोग हुआ है, जैसे “मैंने भागकर दोनों दरवाजे बंद कर दिए”।

प्रश्न (ज): माँ बार-बार क्यों कह रही होंगी कि गौरैयाँ घर छोड़कर नहीं जाएँगी?

उत्तर: माँ बार-बार ऐसा इसलिए कह रही होंगी क्योंकि वे एक माँ होने के नाते समझ सकती थीं कि गौरैयों ने अब घोंसले में अंडे दे दिए होंगे। कोई भी माँ अपने बच्चों को छोड़कर नहीं जाती, इसलिए वे जानती थीं कि गौरैयाँ अब अपना घर और अंडे छोड़कर कहीं नहीं जाएँगी।

अनुमान और कल्पना से

प्रश्न (क): कल्पना कीजिए कि आप उस घर में रहते हैं जहाँ चिड़ियाँ अपना घर बना रही हैं। अपने घर में उन्हें देखकर आप क्या करते?

उत्तर: अगर मैं उस घर में रहता, तो मैं उन चिड़ियों को अपना घर बनाने देता। मैं उन्हें भगाने की कोशिश नहीं करता, बल्कि उनके लिए एक बर्तन में दाना और पानी रख देता ताकि उन्हें भोजन के लिए भटकना न पड़े। मैं चुपचाप दूर से उन्हें अपना घोंसला बनाते हुए देखता।

प्रश्न (ख): मान लीजिए कि कहानी में चिड़िया नहीं, बल्कि नीचे दिए गए प्राणियों में से कोई एक प्राणी घर में घुस गया है। ऐसे में घर के लोगों का व्यवहार कैसा होगा? क्यों? (प्राणियों के नाम – चूहा, कुत्ता, मच्छर, बिल्ली, कबूतर, कॉकरोच, तितली, मक्खी)

उत्तर:

  • चूहा, मच्छर, कॉकरोच, मक्खी: इन्हें देखकर घर के लोग परेशान हो जाते और उन्हें भगाने या मारने की कोशिश करते, क्योंकि ये गंदगी और बीमारियाँ फैलाते हैं।
  • कुत्ता, बिल्ली, कबूतर: इनके आने पर घर के लोगों का व्यवहार मिला-जुला हो सकता था। कुछ लोग इन्हें प्यार से रखते, तो कुछ लोग इन्हें बाहर निकाल देते।
  • तितली: तितली को देखकर सब खुश होते और उसे पकड़ने या उड़ाने की कोशिश नहीं करते, क्योंकि वह सुंदर होती है और कोई नुकसान नहीं पहुँचाती।

प्रश्न (ग): “मैं अवाक् उनकी ओर देखता रहा।” लेखक को विस्मय या हैरानी किसे देखकर हुई? उसे विस्मय क्यों हुआ होगा?

उत्तर: लेखक को विस्मय या हैरानी घोंसले में से झाँकती नन्हीं-नन्हीं गौरैयों (बच्चों) को देखकर हुई। उसे विस्मय इसलिए हुआ होगा क्योंकि उसे पता ही नहीं था कि घोंसले में बच्चे भी हैं। अचानक उन छोटे-छोटे जीवों को देखकर वह हैरान रह गया।

प्रश्न (घ): “माँ मदद तो करती नहीं थीं, बैठी हँसे जा रही थीं।” माँ ने गौरैयों को निकालने में पिताजी की सहायता क्यों नहीं की होगी?

उत्तर: माँ ने पिताजी की सहायता इसलिए नहीं की होगी क्योंकि वे मन ही मन नहीं चाहती थीं कि गौरैयों को उनके घर से निकाला जाए। उन्हें पिताजी का कूद-कूदकर और लाठी घुमाकर चिड़ियों को भगाने का तरीका बहुत मज़ेदार और बचकाना लग रहा था, इसलिए वे मदद करने की बजाय हँस रही थीं।

प्रश्न (ङ): आप भी किसी एक अपरिचित व्यक्ति या प्राणी के व्यवहार को ध्यान से देखकर अनुमान लगाइए कि वह क्या सोच रहा होगा, क्या करता होगा या वह कैसा व्यक्ति होगा आदि।

उत्तर: आज मैंने पार्क में एक कुत्ते को देखा जो बेंच के नीचे चुपचाप बैठा था और आने-जाने वाले हर व्यक्ति को देख रहा था। उसकी पूँछ थोड़ी दबी हुई थी। उसके व्यवहार को देखकर मैंने अनुमान लगाया कि शायद वह भूखा होगा और किसी से खाने की उम्मीद कर रहा होगा। वह थोड़ा डरा हुआ भी लग रहा था, शायद उसे अपने मालिक का इंतज़ार था या वह रास्ता भटक गया था।

प्रश्न (च): “पिताजी कहते हैं कि यह घर सराय बना हुआ है।” सराय और घर में कौन-कौन से अंतर होते होंगे?

उत्तर: | घर | सराय | | :— | :— | | यह हमारा अपना और स्थायी निवास होता है। | यह यात्रियों के लिए अस्थायी ठिकाना होता है। | | घर में परिवार के सदस्य रहते हैं। | सराय में अनजान लोग कुछ समय के लिए रुकते हैं। | | घर से हमें भावनात्मक लगाव होता है। | सराय से कोई भावनात्मक लगाव नहीं होता। |

भाषा की बात

कहने के ढंग/क्रिया विशेषण

प्रश्न: नीचे दिए गए रेखांकित शब्दों पर ध्यान दीजिए। इन शब्दों का प्रयोग करते हुए अपने मन से वाक्य बनाइए।

  • (क) झिड़ककर: माँ ने झिड़ककर कहा, “तुमने अभी तक अपना कमरा साफ नहीं किया?”
  • (ख) गंभीरता से: शिक्षक ने गंभीरता से सभी बच्चों को शांत रहने के लिए कहा।
  • (ग) गुस्से में: मोहन गुस्से में बोला कि वह अब कभी बात नहीं करेगा।

प्रश्न: अब आप इनसे मिलते-जुलते कुछ और क्रिया विशेषण शब्द सोचिए और उनका प्रयोग करते हुए कुछ वाक्य बनाइए।

  • धीरे से: बिल्ली ने धीरे से कमरे में प्रवेश किया।
  • चिल्लाकर: बच्चा डर के मारे चिल्लाकर रोने लगा।
  • फुसफुसाते हुए: उसने मेरे कान में फुसफुसाते हुए एक राज की बात बताई।

घर के प्राणी

प्रश्न: कहानी में से चुनकर उन प्राणियों की सूची बनाइए और बताइए कि वे मनुष्यों जैसे कौन-कौन से काम करते थे?

उत्तर:

  • (क) बिल्ली: ‘फिर आऊँगी’ कहकर चली जाती है।
  • (ख) गौरैयाँ: मकान का निरीक्षण करती हैं और मल्हार गाती हैं।
  • (ग) चमगादड़: कमरों में कसरत करते हैं।
  • (घ) चूहे: धमा-चौकड़ी मचाते हैं।
  • (ङ) कबूतर: दिन भर ‘गुटर-गूँ’ का संगीत सुनाते हैं।

हेर-फेर मात्रा का

प्रश्न: नीचे दिए गए शब्दों की मात्राओं और अर्थों के अंतर पर ध्यान दीजिए। इन शब्दों का प्रयोग करते हुए अपने मन से वाक्य बनाइए।

  • नाच-नाचा-नचा:
    • नाच: शादी में सबने खूब नाच किया।
    • नाचा: बंदर खुशी से नाचा
    • नचा: मदारी ने बंदर को खूब नचाया
  • हार-हरा-हारा:
    • हार: रानी ने हीरों का हार पहना था।
    • हरा: तोते का रंग हरा होता है।
    • हारा: वह दौड़ में हारा नहीं, बल्कि जीता।
  • पिता-पीता:
    • पिता: मेरे पिता एक अच्छे इंसान हैं।
    • पीता: वह रोज़ दूध पीता है।
  • नीचा-नीचे:
    • नीचा: हमें किसी को नीचा नहीं दिखाना चाहिए।
    • नीचे: गेंद मेज के नीचे चली गई।
  • सहसा-साहस:
    • सहसा: सहसा (अचानक) बिजली चली गई।
    • साहस: हमें साहस से काम लेना चाहिए।

कहानी की रचना

प्रश्न: इस कहानी की कुछ विशेषताओं को नीचे दिया गया है। इनके उदाहरण कहानी में से चुनकर लिखिए।

कहानी की विशेषताएँ कहानी में से उदाहरण
1. किसी बात को कल्पना से बढ़ा-चढ़ाकर कहना जो भी पक्षी पहाड़ियों-घाटियों पर से उड़ता हुआ दिल्ली पहुँचता है, पिताजी कहते हैं वही सीधा हमारे घर पहुँच जाता है, जैसे हमारे घर का पता लिखवाकर लाया हो।
2. हास्य यानी हँसी-मज़ाक का उपयोग किया जाना माँ हँसकर बोलीं, “चिड़ियाँ एक-दूसरे से पूछ रही हैं कि यह आदमी कौन है और नाच क्यों रहा है?”
3. सोचा कुछ और, हुआ कुछ और पिताजी ने सोचा कि दरवाजों के नीचे कपड़े ठूँसने से गौरैयाँ नहीं आ पाएँगी, पर वे टूटे रोशनदान से आ गईं।
4. दूसरों के मन के भावों का अनुमान लगाना एक चूहा अँगीठी के पीछे बैठना पसंद करता है, शायद बूढ़ा है उसे सर्दी बहुत लगती है।
5. किसी की कही बात को उसी के शब्दों में लिखना माँ ने व्यंग्य से कहा, “छोड़ो जी, चूहों को तो निकाल नहीं पाए, अब चिड़ियों को निकालेंगे!”
6. किसी प्राणी या उसके कार्य को कोई अन्य नाम देना पिताजी घर को ‘सराय’ कहते हैं।
7. किसने किससे कोई बात कही, यह सीधे-सीधे बताए बिना उस संवाद को लिखना इस पर पिताजी को गुस्सा आ गया। वह उठ खड़े हुए और बोले, “देखता हूँ ये कैसे यहाँ रहती हैं!”

 

हास्य-व्यंग्य

प्रश्न (क): आपको इस कहानी में कौन-कौन से वाक्य पढ़कर हँसी आई? उन वाक्यों को चुनकर लिखिए।

उत्तर: इन वाक्यों को पढ़कर हँसी आई:

  1. छोड़ो जी, चूहों को तो निकाल नहीं पाए, अब चिड़ियों को निकालेंगे!
  2. चिड़ियाँ एक-दूसरे से पूछ रही हैं कि यह आदमी कौन है और नाच क्यों रहा है?
  3. इतनी तकलीफ करने की क्या जरूरत थी। पंखा चला देते, तो ये उड़ जातीं।

प्रश्न (ख): अब चुने हुए वाक्यों में से कौन-कौन से वाक्य ‘व्यंग्य’ कहे जा सकते हैं? उन पर सही का चिह्न लगाइए।

उत्तर:

  1. छोड़ो जी, चूहों को तो निकाल नहीं पाए, अब चिड़ियों को निकालेंगे! (✓)
  2. चिड़ियाँ एक-दूसरे से पूछ रही हैं कि यह आदमी कौन है और नाच क्यों रहा है? (✓)

 

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